जेपीएससी-दो में की गयी गड़ब़िडयों का हर रोज नया तथ्य सामने आ रहा है ताजा मामला जेनरल स्टडी विषय से जुड़ा हुआ है इस विषय की कॉपियों की जांच के लिए जेपीएससी द्वारा किसी भी परीक्षक की नियुक्ति नहीं की गयी,लेकिन कॉपियों की जांच जरूर हो गयी उम्मीदवारों को नंबर भी मिल गये और इसके आधार पर अफसरों की नियुक्ति भी कर ली गयी कॉपियों की जांच वाराणसी के महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के प्रोफेसरों ने की निगरानी जांच के दौरान जब अनुसंधानक द्वारा प्रोफेसर से यह पूछा गया कि आपने किसके आदेश पर कॉपियों की जांच की, तो वे कोइ जवाब नहीं दे सके जांच के दौरान ये तथ्य भी सामने आये हैं कि गड़बड़ी करने के उद्देश्य से भूगोल विषय की कॉपी को राजनीतिक शास्त्र के प्रोफेसर से जांच करायी गयी उल्लेखनीय है कि जेपीएससी ने महात्मा गांधी काशी विद्यापीठ के प्रोफेसर परमानंद सिंह को जेपीएससी-दो के लिए को-ऑडिनेटर नियुक्त किया था और उन्होंने गड़बड़ी करने के लिए ज्यादातर परीक्षकों की नियुक्ति अपने ही कॉलेज के प्रोफेसरों में से की
आठ प्रोफेसरों से पूछताछ
निगरानी विभाग ने पिछले दिनों वाराणसी के आठ प्रोफेसरों से पूछताछ की जिनसे पूछताछ गयी गयी, उनके नाम प्रदीप कुमार पांडेय, सूय भान प्रसाद, उदय प्रकाश पांडेय, शिव सहाय सिंह यादव, राम ुधार सिंह, कौशलेश कुमार, विष्णु दत्त पांडेय और सियारात सिंह यादव हैड)
आठ प्रोफेसरों से पूछताछ
निगरानी विभाग ने पिछले दिनों वाराणसी के आठ प्रोफेसरों से पूछताछ की जिनसे पूछताछ गयी गयी, उनके नाम प्रदीप कुमार पांडेय, सूय भान प्रसाद, उदय प्रकाश पांडेय, शिव सहाय सिंह यादव, राम ुधार सिंह, कौशलेश कुमार, विष्णु दत्त पांडेय और सियारात सिंह यादव हैड)
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